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    आज की प्रेरणादायक कहानी : "अच्छाई का फल" : SKGupta



    उत्तर प्रदेश बलिया 
    इनपुट: हिमांशु शेखर 
    बलिया उत्तरप्रदेश:---(एक ऐसी सीख जो आपके जीवन का नज़रिया बदल सकती है)

    एक औरत रोज़ अपने घर में परिवार के लिए खाना पकाती थी। लेकिन एक रोटी वह हर दिन एक अनजान भूखे इंसान के लिए अलग से बनाती — और वह रोटी वह खिड़की पर रख देती, जिससे कोई भी ज़रूरतमंद आकर ले जाए।

    💭 हर दिन एक कुबड़ा व्यक्ति आता, चुपचाप रोटी उठाता और केवल एक वाक्य बोलता:

     "जो तुम बुरा करोगे, वह तुम्हारे साथ रहेगा, और जो तुम अच्छा करोगे, वह तुम तक लौटकर आएगा।"

    ना धन्यवाद, ना नम्रता — बस यही दोहराता हुआ चला जाता।

    समय बीतता गया। लेकिन औरत उस व्यक्ति की कृतज्ञता न जताने की आदत से परेशान होने लगी। एक दिन वह सोचती है:

     "हर दिन उसे रोटी देती हूं, लेकिन ये आदमी एक शुक्रिया भी नहीं कहता… क्या फायदा?"

    उसने एक खतरनाक फैसला लिया —
    उस दिन रोटी में ज़हर मिला दिया!

    जैसे ही वह रोटी खिड़की पर रखने लगी, उसका हाथ कांप गया…
    आंतरिक आवाज़ ने उसे रोक लिया —
    "क्या मैं सच में एक भूखे को मारने जा रही हूं?"

    उसने वह रोटी आग में जला दी और नयी रोटी बनाकर रख दी।

    जैसा रोज़ होता था, कुबड़ा आया, रोटी ली और बड़बड़ाता हुआ चला गया —

     "जो तुम बुरा करोगे, वह तुम्हारे साथ रहेगा, और जो तुम अच्छा करोगे, वह तुम तक लौटकर आएगा।"

    🧎‍♀️ हर दिन की तरह उस औरत ने अपने बेटे की सलामती और घर वापसी की प्रार्थना की — जो लंबे समय से दूर था और कोई खबर नहीं थी।

    उसी शाम… एक दस्तक होती है।
    दरवाज़ा खुलता है — और उसका बेटा सामने खड़ा था!

    कमज़ोर, थका हुआ, भूखा और फटे हुए कपड़ों में।

    बेटे ने रोते हुए बताया: 👉 "माँ, मैं घर से एक मील दूर भूख से बेहाल गिर पड़ा था… मर ही जाता। लेकिन एक कुबड़ा व्यक्ति आया, उसने मुझे उठाया और कहा — 'मैं रोज़ यही रोटी खाता हूं, लेकिन आज इसकी ज़रूरत तुमको ज़्यादा है।' और वह रोटी मुझे दे दी।"

    💔 यह सुनकर माँ की आंखें भर आईं…
    उसे याद आया — उसी सुबह, वही ज़हर मिली रोटी वह खिड़की पर रखने जा रही थी…
    अगर उसने उसे जला न दिया होता, तो शायद आज उसका बेटा सामने ना होता।

    🌀 अब उसे उस कुबड़े व्यक्ति के शब्दों का असली अर्थ समझ आ गया था:

    🌟 "जो तुम बुरा करोगे, वह तुम्हारे साथ रहेगा…
    और जो तुम अच्छा करोगे, वह तुम तक लौटकर आएगा।"

    🌺 सीख (Moral):

    👉 अच्छाई का फल देर से ही सही, लेकिन जरूर मिलता है।
    👉 जब आप बिना अपेक्षा के अच्छा करते हैं, तो ईश्वर आपको अप्रत्याशित रूप से उसका फल लौटाता है।
    👉 किसी के प्रति आपका छोटा-सा भला कार्य — किसी की ज़िंदगी का चमत्कार बन सकता है

    क्योंकि जो प्राप्त है — वही पर्याप्त है। 🙏
    🦚 सदैव प्रसन्न रहिए 🦚

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